आज सरस्वती पूजा थी....स्कूल के दिनों में हम सुबह जल्दी स्कूल जाकर पूजा की तैयारियां किया करते थे....सरस्वती वंदना,पूजा,प्रसाद वितरण और फिर छुट्टी हो जाया करती थी.....जब से स्कूल जाना बंद किया,घर पर ही पूजा कर लिया करती...हर साल की तरह इस साल भी सरस्वती पूजा की....
सरस्वती पूजा पर केसरिया वस्त्र पहना जाता है...सरस्वती माँ के साथ-साथ उनके वाहन मोर और वीणा की भी पूजा की है..मोर की पूजा करके उसकी तरह मधुर बोलने की प्रेरणा ली जाती है....चित्र में मोर न होने पर मोरपंख की पूजा भी की जा सकती है...घर पर जो भी वाद्ययंत्र होते हैं उनकी भी पूजा की जाती है....केसरिया(बसंती) फूलों के गुलदस्ते की पूजा भी होती है....केसरिया रंग का प्रसाद चढ़ाया जाता है....सो मुझे आज एक नयी रेसिपी सिखने को भी मिली..केसरिया चावल...ये सरस्वती पूजा का मुख्य प्रसाद होता है...
आज आज मैंने भी इसी तरह पूजा करके अपने और देशवासियों के लिए माता से ज्ञान का वरदान माँगा...आज काली मंदिर जाकर सरस्वती पूजा देखने का मौका भी मिला...आज तक सरस्वती माता को सफ़ेद वस्त्र में ही देखा था...आज पहली बार माँ को केसरिये(बसंती)रंग में देखकर मैं अभिभूत हो गयी...
आप सभी को सरस्वती पूजा की हार्दिक शुभकामनायें....सरस्वती माँ आप सभी के जीवन को ज्ञान के प्रकाश से रौशन करे...
Wednesday, January 20, 2010
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2 comments:
वसंत पंचमी कि हार्दिक शुभ कामनाएँ...आपकी सादगी से भरी सरस्वती पूजा ने मन को मोह लिया..और माँ के प्रसाद ने मुख निर्मल कर दिया...सुंदर
सुन्दर प्रस्तुति! बसंत पंचमी की हार्दिक शुभ कामनाएं !आपके ब्लॉग पर आकर माँ सरस्वती के दर्शन हो गए, आभार...!
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